अध्यक्ष पत्नी ने प्रेम के वशीभूत होकर पति प्रेम कि की अवैध नियुक्ति
रिपोर्टर विशाल बागमार
खरगोन करही ।
सुशासन का दावा करने वाली भाजपा सरकार अपने ही कार्यकर्ताओ का बचाव ऐसे मामलों में कर रही है जहाँ स्पष्ट फर्जी कांड दिख रहा है,, राजनीति शह देने के लिए वर्षो से मामले को लम्बित कर रखा है ऐसे में लोगो को कोर्ट की शरण लेनी पड़ी है । ऐसे मामले में कार्यवाही नही कर भाजपा अपनी छवि को धूमिल भी कर रही है ।
मामला है करही नगर परिषद के फर्जी नियुक्ति एवम बीपीएल धारियों की नोकरी का । आज से 10 वर्ष पूर्व ग्राम पंचायत करही एवम ग्राम पंचायत पाडल्या खुर्द का विलय करके नगर परिषद करही पाडल्या खुर्द का गठन हुआ था और 10 जनवरी 2015 को नगर परिषद अध्यक्ष के रूप में भाजपा समर्थित आशा बाई प्रेम वासुरे ने करही के विकास के लिए बागडोर सम्हाली । ऐसा माना व बताया जाता है कि करही नगर परिषद मप्र की सबसे छोटी परिषद है । पहली बार परिषद का गठन होने पर स्थानीय लोगो को लगा था कि नगर का खूब विकास होगा लेकिन 5 साल नगर परिषद अध्यक्ष रही आशा वासुरे का पूरा कार्यकाल ही भारी भ्रस्टाचार, अनियमितता एवम विवादित रहा । मामला एल ई डी एवम हाई मास्ट खरीदी का हो, फायर फाइटर और ट्रेक्टर का हर मामले भी सैकड़ो शिकायते हुई लेकिन सभी जांचे लम्बित पड़ी हुई है । पहली नगर परिषद अध्यक्ष पद का ताज मिलते ही भाजपा समर्थित श्रीमति आशा प्रेम वासुरे ने पहली पी आई सी द्वारा संकल्प क्रमांक 58 दिनांक 09 फरवरी 2015 को पारित कर अपने पति प्रेम वासुरे सहित तत्कालीन 10 कर्मियों को नवगठित परिषद में स्वीकृत पदों अनुरूप पद स्वीकृति प्रदान कर तत्कालीन मुख्य नगर पालिका अधिकारी विनोद बारचे द्वारा 11 कर्मियों को पंचायत कर्मी बताकर इनके नियमितीकरण करण/संविलियन का प्रस्ताव तैयार कर नियमित पदों पर नियुक्ति की गई। जिस पर शासन स्तर पर जांच कर(1) एस के दुबे तत्कालीन संयुक्त संचालक नगरीय प्रशासन एवं विकास इंदौर संभाग इंदौर सेवा निवृत संचालनायय नगरीय प्रशासन एवं विकास म.प्र. भोपाल (2) विजय बहादुर सिंह चौहान तत्कालीन मुख्य नगर पालिका अधिकारी नगर पालिका परिषद बड़वाह जिला खरगोन (3) विनोद बारचे तत्कालीन प्रभारी मुख्य नगर पालिका अधिकारी नगर परिषद करही पाडल्या खुर्द जिला खरगोन (4) सी एल लकवाल सेवा निवृत्त सहायक वर्ग-1नगरीय प्रशासन एवं विकास इंदौर सम्भाग इंदौर जिन्होंने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए अपने क्षेत्राधिकार से बाहर जाकर नगर परिषद में 11 कर्मियों को नियमों के विरुद्ध तथा कुटरचित अभिलेखो के आधार पर नियमित पदों पर नियुक्ति कर दीगई, जिसका आरोप पत्र शासन द्वारा इन्हें भेजा गया ।
इन अवैध नियुक्तियों का मामला तब संज्ञान में आया जब तत्कालीन नेता प्रतिपक्ष वीरचन्द छाजेड़ द्वारा दिनांक 09 जुलाई 2015 को प्रमुख सचिव महोदय नगरीय प्रशासन भोपाल म.प्र. को एक लिखित शिकायत ई मेल के भेजी गई ,जिस त्वरित कार्यवाही करते हुए प्रमुख सचिव द्वारा कमिश्नर इंदौर को जांच के आदेश दिए। ततपश्चात आयुक्त नगरीय प्रशासन एवं विकास पालिका भवन-6भोपाल म.प्र.द्वारा 09 फरवरी 2021 को सभी11 कर्मियों सहित जिम्मेदार प्रशासनिक अधिकारी/कर्मचारियों को आरोप पत्र जारी किये।
साथ समय समय पर स्थानीय नगर परिषद के मुख्य नगर पालिका अधिकारी को कार्यवाही हेतु आदेशित क्या जाता है किन्तु उनके कान पर जु तक नहीं रेंगती ओर न ही कार्यवाही की जाती है।
“सत्ता एवं पद का दुरुपयोग-”
नगर परिषद अध्यक्ष रहते हुए श्रीमतीआशा प्रेम वासुरे द्वारा अपने परिवार में सांस श्रीमती स्याणी बाई रतन वासुरे व जेठ देवराम रतन वासुरे को प्रधानमंत्री आवास का लाभ दिया वहीं अपने पति प्रेम वासुरे को राजस्व उपनिरीक्षक का ताज पहनाया वहीं सतीश ताराचंद पाटीदार सहा. वर्ग-2 ने अध्यक्ष महोदया से सांठ गाठ कर अपने परिवार में पिता ताराचंद मोरारजी पाटीदार व भी आशीष ताराचंद पाटीदार को प्रधानमंत्री आवास का लाभ दिलवाया। ऐसे ही पद पर रहते हुए अपनो अपनो को खूब रेवड़ी बांटी गई । इस भारी भ्रस्टाचार व अपनो की बंदर बांट से परेशान होकर भाजपा व कांग्रेस सभी पार्षदों ने एकजुट होकर अध्यक्ष के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव भी पेश किया था ।
“फर्जी नियुक्ति वाले पिछले कई वर्षों से सीएमओ बनकर भ्रष्टाचार को अंजाम दे रहे है”
करही परिषद में हुई फर्जी भर्ती को लेकर कलेक्टर कमिश्नर से लेकर राज्य शासन तक कई शिकायतें की जा चुकी है जिसमे नगरीय प्रशासन विभाग भोपाल की और से आरोप पत्र भी जारी हो चुके है लेकिन सत्ता एवम संगठन पर अपनी मजबूत पकड़ बताते हुए भाजपा नेत्री आशा वासुरे ने अपने पति को राजस्व निरीक्षक से प्रभारी सी एम ओ कब रूप में नियुक्ति दिलवाने में सफल रही है । प्रेम वासुरे पिछले 4 से 5 वर्षो से बड़वाह पुनासा ठीकरी जैसी परिषदों में प्रभारी सी एम ओ के पद पर कार्य कर रहे है और वहाँ भी भारी भ्रष्टाचार का गुल खिला रहे है । वर्तमान में ठीकरी सी एम ओ रहते हुए भी उनकी शिकायत स्थानीय नागरिकों द्वारा की गई है ।
पूर्व सीएमओ जूनवाल ने भी किया भ्रस्टाचार का सहयोग,,नही दिया शासन को जवाब””
नगरीय प्रशासन व
एवम विकास विभाग इंदौर के संयुक्त संचालक सिन्हा ने नगर परिषद करही के पूर्व सीएमओ चुन्नीलाल जूनवाल को भी 19 फरवरी 2024 को पत्र लिखकर स्पष्टीकरण मांगा था । उसमे स्पष्ट उल्लेख किया था कि नगरीय प्रशासन एवम विभाग मध्य प्रदेश भोपाल के संचनालय द्वारा आपसे अवैध नियूक्ति के बारे में चाही जानकारी शीघ्र भेजी जाए । लेकिन भ्रस्टाचार में डूबे खुद सीएमओ ने अपने वरिष्ठ अधिकारियो और उच्च विभाग की धज्जियां उड़ाई और किसी भी प्रकार की कोई जानकारी नही भेज कर इस घोटाले में आरोपितों की मदद की ।
“अंधेर नगरी चोपट राजा” दोहरा लाभ ले रहे है नियमित कर्मचारी-
शासन की मंशा होती है कि प्रदेश के गरीब तबके को बीपीएल कार्ड उपलब्ध करवा कर उनके जीवन यापन में मदद की जाए । लेकिन भ्रष्टाचार में गले गले लिप्त भृष्टो द्वारा गरीब के पेट पर भी मार की गई । जो बीपीएल के वास्तविक हकदार है उन्हें तो बीपीएल कूपन देने पर अधिकारी चप्पलें घिसवा देते वही दूसरी और नगर परिषद के कई कर्मचारी भी बीपीएल कार्ड धारी है ।करही परिषद में कई कर्मचारी स्थायी पद पर पदस्थ है वहीं दूसरी ओर शासन की लाभकारी योजना “प्रधानमंत्री ग़रीब कल्याण अन्न योजना” का बीपीएल कार्डधारकों के रूप में भरपूर लाभ उठा रहे है शासन को अब तक लाखों का चूना लगा चुके है ।
वरिष्ठ कार्यालय द्वारा निर्देश प्राप्त हुए हैं और मेरे द्वारा संयुक्त संचानलय को पत्र लिखकर एवम समक्ष उपस्थित होकर बताया गया कि उक्त प्रकरण को 15 अगस्त 2024 के पूर्व हुई पीआईसी बैठक में रखा गया है । पीआईसी द्वारा प्रकरण का परीक्षण किया जा रहा है परीक्षण उपरांत पीआईसी जो निर्णय लेगी उसे आगामी कार्यवाही हेतु प्रकरण को प्रेषित किया जाएगा ।
शिवजी आर्य
मुख्य नगर पालिका अधिकारी करही पाडल्या खुर्द