बालाघाट वन परिक्षेत्र बिरसा दमोह (सा.)में तेंदुआ के शिकार पर बड़ी कार्यवाही
रिपोर्टर– देवेंद्र बलिये
उत्तर सामान्य वन मंडल बालाघाट अंतर्गत वन परिक्षेत्र बिरसा दमोह (सा.)वन परिक्षेत्र में वन जिव प्राणी के साथ घटित घटना उत्तर सामान्य वन मंडल बालाघाट अंतर्गत वन परिक्षेत्र बिरसा दमोह सा.के वन वृत अंतर्गत दिनांक 18/10/2024 की सुबह सामूहिक वनगस्ती दौरान श्री सौरभ सिंह शरणागत वन क्षेत्रपाल परिक्षेत्र अधिकारी बिरसा दमोह (सा.)परिक्षेत्र सहायक श्री विनय कुमार धुर्वे ,वनपाल परीक्षित सहायक बिरसा सहयोगी स्टाफ खेमराज नागेश्वर ,वनरक्षक श्री अश्विन शिवनकर वनरक्षक, श्री संतराम उईके वनरक्षक ,श्री बुद्धिराज बघेल वनरक्षक ,श्री महेंद्रकपूर वल्के वनरक्षक ,श्रीमती संजू मरावी वनरक्षक के साथ की जा रही थी जिसमें बीट भूतना भाग एक 1 कक्ष क्रमांक 1688 में गस्ती करने पर पाया गया कि उक्त वन परिक्षेत्र में वन प्राणी तेंदुआ मृत पड़ा हुआ पाया गया जिस पर त्वरित कार्यवाही करते हुए वन परिक्षेत्र अधिकारी बिरसा दमोह द्वारा अपने वरिष्ठ अधिकारों को मौके की घटना की जानकारी दी गई जिससे जांच के लिए घटना स्थल पर तत्काल डाग स्क्वायड बुलाया गया एवं दल के द्वारा पतासाजी करते हुए आरोपी के घर तक डाग स्क्वायड जा पहुंचा जिसमें पांच आरोपी को बुधराम पिता प्रताप सिंह जाति गोंड उम्र 30 वर्ष निवासी नाका टोला, राकेश पिता सोमल गोंड उम्र 32 वर्ष निवासी नाका टोला ,रमेश पिता हरे सिंह गोंड उम्र 36 वर्ष निवासी नाका टोला ,इतवारी पिता राम गोडं उम्र 38 वर्ष निवासी नाकाटोला ,बलमु पिता संतु सिंह गोंड उम्र 42 वर्ष निवासी नाकाटोला , फिर एक दीन बाद बाकी के फरार तीन(3)आरोपी को पकड़ने की कार्यवाही मन्नु वल्द जब्बार मेरावी उम्र 42 वर्ष जाती गोन्ड नाका टोला , उमेश वल्द खोमल मरकाम 30 वर्ष नाकाटोला , इतवारी वल्द हिरदु मेंरावी 48 वर्ष नाका टोला,तहसील बिरसा जिला बालाघाट को गिरफ्तार कर पुछताछ करने पर अपना जुर्म कबूल कर पूरे घटना की जानकारी दी की विद्युत करंट का उपयोग कर उक्त घटना सामुहिक रूप से अंजाम दिया गया बिरसा वन परिक्षेत्र में करंट लगने से तेंदुए की मौत ने पूरे बालाघाट वन विभाग में अफरा तफरी का माहौल उत्पन्न कर दिया लेकिन कहीं ना कहीं वन विभाग एवं वन कर्मियों की सुझ बुझ ने वन प्राणी की हत्या जुड़े अपराधियो को पकड़ने मे अहम भुमिका निभाई वन विभाग की त्वरित कार्यवाही की क्षेत्रीय लोगों एवं विभाग ने सराहा तत्पश्चात वन परिक्षेत्र बिरसा लाकर पंचनामा तैयार कर पशु चिकित्सा अधिकारी बिरसा दमोह, मोहगांव ,के द्वारा मौके पर शव परीक्षण के लिए बिरसा वन परिक्षेत्र में लाया गया और परीक्षण पोस्टमार्टम किया गया परिक्षेत्र बिरसा मे मृत तेंदुआ मादा प्रजाति की थी जिसकी पुष्टि की गई उसकी उम्र लगभग 4 से 5 वर्ष कुल वजन 29 किलो 580 किलोग्राम एवं गर्भवती पाई गई जिसका परीक्षण करते समय दो सावक की भी पुष्टि की गई वन्य प्राणी पोस्टमार्टम के बाद शव को नष्ट करने हेतु श्रीमान मुख्य वनरक्षक महोदय आर.पी .सेंगर,भा.व.से. श्रीमान वन मंडल अधिकारी महोदय अभिनव पल्लव,भा.व.से. श्रीमान प्रशांत साकरे उपवन मंडल अधिकारी उकवा सा.श्री शिवम पुरी गोस्वामी वन क्षेत्रपाल परिक्षेत्र अधिकारी दक्षिण लामता सामान्य, श्री कन्दर्प भट्ट वन क्षेत्रपाल परिक्षेत्र आधिकारिक पश्चिम बैहर सामान्य, तहसीलदार महोदय श्रीमान राजू नामदेव तहसीलदार बिरसा की उपस्थिति में शव को अग्नि द्वारा नष्ट करने की विधिव्त कार्यवाही की लेकिन 2 दिन बाद सूत्रों से यह जानकारी मिलने लगी की उत्तर सामान्य वन मंडल बालाघाट अंतर्गत वन परिक्षेत्र बिरसा/ दमोह के दो वन कर्मियों पर परिक्षेत्र सहायक श्री विनय कुमार धुर्वे,वन रक्षक खेमराज नागेश्वर,को निलंबित कर दिया गया निलंबित करने की वजह अपने कार्य में लाफरवाही की जानकारी सामने आ रही है लेकिन किस प्रकार की लापरवाही तेंदुआ का शव झाड़ियां में छुपा दिया गया था इस घटनाक्रम की जानकारी तब हुई जब तेंदुआ का शव खराब होने लगा था और उससे बदबू आने लगी थी यही वजह है कि मामले में सहायक वन परिक्षेत्र डिप्टी रेंजर और वनरक्षक को इसके लिए लाफरवाही का जिम्मेदार ठहराया गया इतनी बड़ी घटनाक्रम होने के बावजूद उन्हें मादा तेंदुआ जो गर्भवती भी थी मौत होने की जानकारी नहीं हो सकी थी जिसके चलते वन कर्मियों को निलंबित किया गया लेकिन वन विभाग की इस निलंबित की कार्यवाही ने आने वाले भविष्य मे बहुत से सवाल को उत्पन कर वन विभाग के उच्च अधिकारियों को इसमें चिन्ता करने की जरूरत है उत्तर (सा.) वन मंडल बालाघाट अंतर्गत यह पहली घटना नहीं पहले भी वन्य प्राणी के जीवन से जुड़े कई घटनाएं सामने आई है लेकिन निलंबित कितने हुए भविष्य में इस प्रकार की घटना होती है तो क्या वन रक्षक के द्वारा उच्च अधिकारियों को सुचित किया जाएगा या नहीं क्योंकि जानकारी देने पर भी निलंबित होना है और नहीं देने पर भी निलंबित होना है सूत्रों से यह जानकारी आ रही की कही ना कही वन विभाग की निलंबित की कार्यवाही ने वन विभाग का मनोबल गिराने का कार्य किया है वन परिक्षेत्र बिटो में बीट गार्ड , सुरक्षा कर्मी,चौकीदार, डिप्टी रेंजर, रेंजर, चौकीदार,वन समेती, हर परिस्थिति में डटे रहते हैं निलंबित की कार्यवाही निचले स्तर से उच्च अधिकारी तक बारीकी से जांच हो कोई भी फैसला उचित निर्णय जल्दबाजी में फैसला लेना हर कर्मचारी के कार्यों एवं कार्य क्षेत्र का जमीनी स्तर पर जांच पड़ताल के आधार पर कार्यवाही होना चाहिए वन कर्मियों के द्वारा किये जाने वाला कार्य जांच का विषय है तो उच्च अधिकारी के निर्देश पर वन प्राणी की सुरक्षा , एवं वन क्षेत्रों कीये जाने वाले कार्य भी जांच के दायरे में हो किसी की गड़बड़ी या चुक पाई जाती है तो उन पर पक्ष पात किये बिना कार्यवाही हो नियम निर्देश का पालन हो वन क्षेत्र वन्य जीव के लिए दिए जाने वाली सुविधाएं की भी समय समय पर जांच का विषय है वन विभाग की इस घटना ने बहुत से सवालों को जन्म दिया है आने वाले समय में वन विभाग कि बहुत सी जानकारियां सामने आयेगी जिसपर विभाग क्या कार्यवाही करता है जन चर्चा का विषय है