लगभग 900 साल से परंपरा के अनुसार,इस साल पर सोलापुर के ग्रामदेवता सिद्धेश्वर महाराज की यात्रा का प्रारंभ

रिपोर्ट – संजय मस्कर
सोलापूर, महाराष्ट्र
सिद्धरामेश्वर द्वारा स्थापित शहर में 68 लिंगों का अभिषेक करके ग्राम देवता सिद्धेश्वर की गद्दा यात्रा शुरू हो गई है। नंदी ध्वजों की शोभा यात्रा तैलाभिषेक के साथ प्रारंभ हुई। होम प्रतिपन सोहला सोमवार को होगा!
पूर्व केंद्रीय गृहमंत्री सुशीलकुमार शिंदे, कांग्रेस विधायक प्रणीतीताई शिंदे, भाजपा विधायक विजयकुमार देशमुख उन्होंने प्रशासन के अधिकारियों के साथ माना के सात नंदी ध्वजों का दौरा किया। श्री सिद्धेश्वर यात्रा के लिए कर्नाटक, आंध्र प्रदेश सहित पुरे महाराष्ट्र से लाखों श्रद्धालुओं की भीङ रहती हैं। सिद्धेश्वर महाराज ने यात्रा के माध्यम से समानता का संदेश देने का भी प्रयास किया है! बीजापुर नाका पर मुस्लिम समाज द्वारा पुष्प वर्षा कर स्वागत किया गया। सिद्धेश्वर महाराज की यात्रा को गद्दा यात्रा के नाम से भी पहचाना जाता है।
आज रविवार 14 जनवरी को सुबह आठ बजे हिरेहब्बू के महल से नंदी ध्वज जुलूस के रूप में सिद्धेश्वर मंदिर तक पहुंची।
सोमवार, 15 जनवरी को शाम 5 बजे माणा के सभी सात नंदी झंडे हिरेहब्बू के निवास से होम लाइटिंग समारोह के लिए प्रस्थान करेंगे। पुरानी फौजदार चावड़ी के पास पसरे के घर के पास श्री सिद्धेश्वर देवस्थान के पहले नंदी ध्वज पर नागफनी बांधी जाएगी। अन्य नंदी ध्वजों को विद्युतीकृत करने के बाद जुलूस आगे बढ़ेगा। रात 9 बजे जुलूस के होम मैदान पर होमकुंड के पास पहुंचने के बाद, प्रतीकात्मक कुम्हार का पहला अग्नि समारोह होगा। इसके बाद नंदीध्वज के भगिनी समाज के पास आने पर देशमुख के घर से बछड़े के आने की भविष्यवाणी होगी, साल भर में होने वाली घटनाओं का पूर्वानुमान बताया जाता है। यही भी भविष्यवाणी बताती है कि बारिश होगी या नहीं।
मंगलवार, 16 जनवरी को घरेलू मैदान पर सजावटी आतिशबाजी प्रदर्शन और लेजर शो की योजना बनाई जा रही है। बहीखाता शो के माध्यम से श्री सिद्धेश्वर द्वारा किये गये कार्यों पर प्रकाश डाला गया है ! इस आयोजन के अवसर पर, नंदी ध्वज को एक जुलूस के रूप में घरेलू मैदान में लाया जाता है।
बुधवार 17 जनवरी को उत्तर कसब्या के श्री मल्लिकार्जुन मंदिर में माणा के नंदी ध्वज का आगमन है। सिद्धेश्वर मंदिर की परिक्रमा के बाद नंदी ध्वज के विसर्जन और प्रसाद वितरण के साथ यात्रा का कार्यक्रम संपन्न होता है। धार्मिक कार्यक्रम के बाद सोलापुर की गद्दा यात्रा पंद्रह दिनों तक चलती है !
पिछले 900 वर्षों से चली आ रही ग्राम देवता शिवयोगी श्री सिद्धेश्वर यात्रा इस वर्ष भी बड़े हर्षोल्लास के साथ आयोजित की जाएगी। पांच दिनों तक धार्मिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है, सिद्धेश्वर यात्रा सोलापुर में सामाजिक एकता के लिए जानी जाती है। सिद्धेश्वर भक्त सिद्धेश्वर यात्रा के लिए सोलापुर के अन्य हिस्सों से आ रहे हैं। इसलिए मंदिर की ओर से भक्तों की सुविधा के लिए सभी तैयारियां की गई हैं।