सीएम ने कहा- सागर के बाद रीवा, नर्मदापुरम और शहडोल में होगी समिट
रिपोर्टर मोहम्मद अय्युब शीशगर
इंदौर/भोपाल/सागर , सागर में आज (27 सितंबर) को हो रही रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव में सीएम डॉ. यादव ने कहा, सागर में डाटा सेंटर स्थापित करने के लिए बड़ा प्रस्ताव मिला है। सागर के बाद क्रमशः रीवा, नर्मदापुरम और शहडोल में रीजनल इन्वेस्टर्स कॉन्क्लेव का आयोजन किया जाएगा। इसके बाद जिला स्तर पर भी कॉन्क्लेव करने और अच्छे परिणाम लाने के लिए कलेक्टर को पाबंद किया गया है। कॉन्क्लेव में ओरछा-खजुराहो को डेस्टिनेशन वेडिंग और होटल इंडस्ट्री का हब बनाने का प्लान है। सागर के पुराने बीड़ी और अगरबत्ती उद्योग को पुर्नजीवित करने पर भी फोकस है। छतरपुर के फर्नीचर, दमोह के चने, टीकमगढ़ के अदरक और सागर के टमाटर को देश-दुनिया में पहुंचाने की तैयारी है। शहर के पीटीसी ग्राउंड में हो रहे कॉन्क्लेव में 3 हजार से ज्यादा डेलिगेट्स और इंडस्ट्रियलिस्ट शामिल हुए हैं। पर्यटन के साथ निवेशक सागर में एग्रो इंडस्ट्रीज और खनन के क्षेत्र में दिलचस्पी दिखा रहे हैं। इसका बड़ा कारण यह है कि पूरे बुंदेलखंड और आसपास भरपूर अनाज, सब्जी उत्पादन के साथ सभी जिलों में खनिज मौजूद है।
*सागर इसलिए भी निवेशकों की पसंद*
*•* सागर से दो हाईवे (एनएच-44 और एनएच 86) निकले हैं। भोपाल, इंदौर होते हुए धुले से मुंबई और सूरत बंदरगाह तक सड़क मार्ग जुड़ा है।
*•* रेल लाइन मुंबई, दिल्ली, सूरत के लिए सीधी है। बीना जंक्शन होने से देशभर में कहीं भी रेल मार्ग से आना- जाना किया जा सकता है।
*•* एग्रो इंडस्ट्रीज के लिए सभी तरह के अनाज के साथ टमाटर, अदरक, लहसुन, दूसरी सब्जियों का उत्पादन और भरपूर कच्चा माल है।
*•* यहां के लोग गुजरात, दिल्ली, महाराष्ट्र और दूसरे राज्यों में काम करने जाते हैं। सागर में रोजगार मिलेगा, तो लोकल मजदूर मिल जाएंगे।
*जेपी और बिरला जैसे बड़े ग्रुप के डेलिगेट्स आ रहे*
इस रीजनल इंडस्ट्री कॉन्क्लेव में जेपी, बिरला ग्रुप और देश-विदेश के बड़े उद्योग घरानों के डेलिगेट्स जुट रहे हैं। प्रशासन ने सागर यूनिवर्सिटी से पढ़कर विदेशों में उद्योग चला रहे उद्योगपतियों को भी कॉनक्लेव में इनवाइट किया गया है। पर्यटन क्षेत्र की प्रमुख कंपनी आईटीसी को कॉन्क्लेव के लिए बुलाया गया है। यह सागर समेत पन्ना राष्ट्रीय उद्यान, ओरछा और खजुराहो में संभावनाएं तलाशेगी।
इस कॉन्क्लेव से सागर संभाग को नए उद्योग और रोजगार मिलेंगे। संभाग मुख्यालय सागर के साथ ही दमोह, छतरपुर, टीकमगढ़, पन्ना और निवाड़ी जिले में भी उद्योग, रोजगार, लोकल उत्पादों को आगे बढ़ाने के अवसर मिलेंगे।
*लंच में ‘बुंदेलखंड का जायका* ‘
कॉन्क्लेव में लंच बुंदेलखंड के जायकों के साथ होगा। इसीलिए इसे नाम भी ‘बुंदेलखंड का जायका’ दिया गया है। पीटीसी मैदान में सीएम के साथ 300 लोग
लंच में बुंदेली जायका
*कढ़ी:* मट्ठे में बेसन घोलकर बनाई जाती है। सादे भजिए डाले जाते हैं।
*बराः* उड़द की दाल से बनाए जाते हैं। दही और बिना दही के परोसा जाता है।
सीराः यह पूरियों को पीसकर गुड़ के साथ बनाया जाता है।
*बिजौरा:* सफेद तिल और सफेद कुम्हड़ा को मिलाकर बनाया जाता है। तेल में सेंककर परोसा जाता है।
कोदो, ज्वार, कुटकी के *व्यंजन:* इनके अलग-अलग तरह के व्यंजन बनाए जाते हैं। ज्यादातर रोटियां बनाई जाती हैं।
*काली हल्दी की खेती करने के इच्छुक हैं निवेशक*
कॉन्क्लेव का मुख्य फोकस स्थानीय कुटीर उद्योग होगा। बीड़ी उद्योग पर आधारित अलग सेशन में विस्तृत कार्य योजना पर चर्चा होगी। एक जिला-एक उत्पाद में सागर संभाग के सभी जिलों के स्थानीय उत्पादों की विश्व स्तरीय गुणवत्ता, विपणन एवं प्र-संस्करण समेतअन्य मुद्दों पर भी चर्चा की जानी है। इसके अलावा यहां निवेशकों ने काली हल्दी की खेती करने की बात भी कही है।
*और इधर… कांग्रेस ने कहा-बिना कनेक्टिविटी के कैसे आएगा निवेश*
कांग्रेस ने सागर में होने जा रही रीजनल इन्वेस्टर्स समिट को लेकर सवाल खड़े किए हैं। कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष भूपेंद्र गुप्ता ने प्रदेश सरकार के मंत्री गोविंद राजपूत को पत्र लिखकर कहा कि बिना कनेक्टिविटी के कोई भी बाहरी निवेशक निवेश नहीं आ सकता है। बुंदेलखंड क्षेत्र एयर कनेक्टिविटी से अछूता है, रेल कनेक्टिविटी भी काफी सीमित है। सबसे पहले इस पर ध्यान देने की जरूरत है।
*चांदी क्लस्टर में तीन हजार को रोजगार*
स्थानीय उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए सागर में बड़े स्तर पर होने वाले चांदी के कारोबार को संगठित करने की प्लानिंग भी की जा रही है। इसके लिए चांदी क्लस्टर बनाया जाएगा। इसमें सीधे तौर पर 3000 लोगों को रोजगार मिलेगा। सुरखी में भी बड़े निवेश होंगे।